1. महात्मा गांधी के पदार्पण से पूर्व भारत में राष्ट्रीय आंदोलन की दिशा को निम्नलिखित में से किन अंतरराष्ट्रीय घटनाओं ने प्रभावित किया था?
1. 1898 के इटली-अबीसीनिया युद्ध ने
2. चीन के बॉक्सर आंदोलन ने
3. आयरलैंड के क्रांतिकारी आंदोलन ने
4. रूस-जापान के युद्ध में जापान की विजय ने
(a) केवल 1, 2 और 3
(b) केवल 1, 2 और 3
(c) केवल 3 और 4
(d) 1, 2, 3 और 4
[I.A.S. (Pre) 1994]
उत्तर-(d) 1, 2, 3 और 4
- भारत में राष्ट्रीय आंदोलन की दिशा को महात्मा गांधी के पदार्पण के पूर्व इटली-अबीसीनिया युद्ध (जिसमें इटली की औपनिवेशिक शक्ति पराजित हुई), 1899-1901 के दौरान चीन में साम्राज्यवादियों के विरुद्ध चलाए गए बॉक्सर आंदोलन तथा रूस पर जापान की विजय, इन सबने प्रभावित किया, किंतु इनमें वर्ष 1905 में जापान की रूस पर विजय का सर्वाधिक प्रभाव पड़ा।
- जापान ने वर्ष 1905 में जारशाही रूस को हराकर स्वयं को सैनिक दृष्टि से एक शक्तिशाली यूरोपीय देश से श्रेष्ठ सिद्ध कर दिया था।
- इससे इस मिथ्या भ्रम का निवारण हो गया कि गोरी जाति के लोग अजेय हैं।
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2. कांग्रेस के नरम-दल के नेताओं की आंदोलन की पद्धति थी-
(a) असहयोग
(b) राजवांमबध्य आंदोलन
(c) अनुकूल प्रविघटन
(d) अविधेयक
[48th to 52nd B.P.S.C. (Pre) 2008]
उत्तर-(b) राजवांमबध्य आंदोलन
- 1907 में कांग्रेस के सूरत अधिवेशन में कांग्रेस दो समूहों में विभाजित हो गई: नरमपंथी और गरम दल।
- नरमपंथियों का दृढ़ विश्वास था कि निष्पक्षता और न्याय की ब्रिटिश भावना को बढ़ावा देने और बैठकें आयोजित करने, चर्चा करने और प्रतिनिधियों को इंग्लैंड भेजने से बदलाव आएगा।
- हालाँकि, चरमपंथियों ने यह नहीं सोचा था कि ब्रिटिश जनता या संसद दयालु होगी और इसके बजाय उन्होंने निष्क्रिय प्रतिरोध पर भरोसा किया।
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3. निम्नलिखित में किस आंदोलन के कारण भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस का विभाजन हुआ जिसके परिणामस्वरूप ‘नरम दल’ और ‘गरम दल’ का उद्भव हुआ?
(a) स्वदेशी आंदोलन
(b) भारत छोड़ो आंदोलन
(c) असहयोग आंदोलन
(d) सविनय अवज्ञा आंदोलन
[I.A.S. (Pre) 2015]
उत्तर- (a) स्वदेशी आंदोलन
- 1907 में, कांग्रेस पार्टी दो समूहों में विभाजित हो गई: नरमपंथी और गरमपंथी।
- नरमपंथियों का विचार था कि छोटे-मोटे मुद्दों को बातचीत, हड़ताल और बहिष्कार से सुलझाया जाना चाहिए।
- हालाँकि, चरमपंथी स्वराज, स्वदेशी और विदेशी वस्तुओं के बहिष्कार के प्रस्तावों के पक्ष में नहीं थे।
- इस मतभेद के कारण 1907 में सूरत अधिवेशन के दौरान कांग्रेस पार्टी में विभाजन हो गया।
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4. अधिकतर नरमपंथी नेता थे-
(a) ग्रामीण क्षेत्रों से
(b) शहरी क्षेत्रों से
(c) ग्रामीण तथा शहरी क्षेत्रों दोनों से
(d) पंजाब से
[43rd B.P.S.C. (Pre) 1999]
उत्तर-(b) शहरी क्षेत्रों से
- उदारवादी राजनीति के दौर में, दादाभाई नौरोजी, फ़िरोज़ शाह मेहता, दिनशॉ वाचा, वोमेश बनर्जी और सुरेंद्रनाथ बनर्जी अधिक उदारवादी नेता थे जो शहरों से आए थे।
- वकील, डॉक्टर, इंजीनियर, पत्रकार और लेखक जैसे लोग जो अमीर थे या मध्यम वर्ग से थे, इस दौरान नियंत्रण में थे।
- ये कांग्रेस प्रतिनिधि बड़े शहरों से थे और उनका नियमित लोगों से कोई संबंध नहीं था।
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5. निम्नलिखित में से किसने 1904 से लगातार भारत को ‘स्वशासन’ देने पर बल दिया?
(a) एस.एन. बनर्जी
(b) अरबिंद घोष
(c) फिरोजशाह मेहता
(d) दादाभाई नौरोजी
[U.P.P.C.S (Mains) 2016]
उत्तर- (d) दादाभाई नौरोजी
- 1904 में, दादाभाई नौरोजी, जो पहली बार दादाभाई बने थे, ने अंतर्राष्ट्रीय समाजवादी कांग्रेस में मांग की कि भारत में स्वशासन होना चाहिए।
- इसके बाद वे भारत में स्वशासन के इस अनुदान पर जोर देते रहे और यहां तक कि 1906 में भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस में अपने अध्यक्षीय भाषण में भी इसका जिक्र किया।
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6. निम्न में कौन उग्रपंथी नहीं था?
(a) बाल गंगाधर तिलक
(b) मदनलाल
(c) ऊधम सिंह
(d) गोपाल कृष्ण गोखले
[44th B.P.S.C. (Pre) 2000]
उत्तर-(d) गोपाल कृष्ण गोखले
- गोपाल कृष्ण गोखले एक महत्वपूर्ण व्यक्ति थे जिन्होंने भारत में जरूरतमंद लोगों की मदद के लिए काम किया।
- वह भारत को आज़ादी दिलाने की क्रांति में अग्रणी थे और अपने लक्ष्य तक पहुँचने के लिए शांतिपूर्ण तरीकों और क्रमिक परिवर्तन का उपयोग करने में विश्वास करते थे।
- वह स्वतंत्रता से पहले भारत के एक प्रमुख समूह, भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस का हिस्सा थे।
- उन्होंने 1888 में इलाहाबाद में कांग्रेस सत्र में भाग लिया और फिर बॉम्बे संविधान परिषद और इंपीरियल विधान परिषद के लिए चुने गए।
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7. किसने भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस पर प्रार्थना, याचना तथा विरोध की राजनीति करने का आरोप लगाया ?
(a) लाला हरदयाल
(b) बाल गंगाधर तिलक
(c) सुभाष चंद्र बोस
(d) सरदार भगत सिंह
[U.P. U.D.A./L.D.A. (Pre) 2002]
[U.P. Lower Sub. (Spl) (Pre) 2002]
उत्तर-(b) बाल गंगाधर तिलक
- भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस (आईएनसी) के पहले बीस वर्षों को उदारवादी नेतृत्व के समय के रूप में जाना जाता है।
- दादाभाई नौरोजी, सुरेंद्र नाथ बनर्जी, महादेव गोविंद रानाडे, फ़िरोज़ शाह मेहता, गोपाल कृष्ण गोखले और आनंद मोहन बोस जैसे लोगों को अंग्रेजों की निष्पक्षता में विश्वास था और उन्होंने गैर-आक्रामक लक्ष्यों का पीछा किया।
- दूसरी ओर, बाल गंगाधर तिलक, लाला लाजपत राय और बिपिन चंद्र पाल का दृष्टिकोण अधिक उग्र था और उन्होंने विरोध, प्रार्थना और याचिका की संवैधानिक पद्धति और रणनीति में विश्वास के लिए नरमपंथियों की आलोचना की।
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8. कांग्रेस की प्रार्थना और याचना की नीति अंततोगत्वा समाप्त हो गई-
(a) अरबिंद घोष के नेतृत्व में
(b) बाल गंगाधर तिलक के नेतृत्व में
(c) लाला लाजपत राय के नेतृत्व में
(d) महात्मा गांधी के नेतृत्व में
[I.A.S. (Pre) 1999]
उत्तर-(b) बाल गंगाधर तिलक के नेतृत्व में
- बाल गंगाधर तिलक के नेतृत्व में, कांग्रेस की प्रार्थना करने और जो चाहते थे उसे माँगने की प्रथा बंद हो गई।
- तिलक ने लोगों को ब्रिटिश साम्राज्य के खिलाफ विरोध करने के लिए प्रोत्साहित किया और कई कांग्रेसी उनसे सहमत थे।
- पंजाब से लाला लाजपत राय और कलकत्ता से बिपिन चंद्र पाल जैसे लोगों ने तिलक का समर्थन किया और कांग्रेस की अधिक उदार नीतियों का पालन करने से इनकार कर दिया।
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9. भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस को किसने “भीख मांगने वाली संस्था” (बेगिंग इंस्टीट्यूट) कहा था?
(a) बी.सी. पाल ने
(b) तिलक ने
(c) अरबिंद घोष ने
(d) इनमें से किसी ने नहीं
[U.P. Lower Sub. (Spl) (Pre) 2008]
उत्तर- (a) बी.सी. पाल ने
- भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस की स्थापना 28 दिसंबर, 1885 को बॉम्बे के गोकुल दास तेजपाल संस्कृत विद्यालय में की गई थी।
- उग्रवादियों ने कांग्रेस की आलोचना की और बीजी तिलक ने इसे “भीख मांगने वाला संस्थान” कहा।
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10. भारतीय राष्ट्रीय आंदोलन गरमपंथियों के प्रभावाधीन आया-
(a) 1906 के बाद
(b) 1909 के बाद
(c) 1914 के बाद
(d) 1919 के बाद
[43rd B.P.S.C. (Pre) 1999]
उत्तर- (a) 1906 के बाद
- 1906 में भारत की आज़ादी की लड़ाई पर उग्रवाद का अधिक प्रभाव पड़ा।
- दिसंबर 1907 में, भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस विभाजित हो गई, क्योंकि क्रांतिकारी आतंकवाद लोकप्रिय हो रहा था।
- लाला लाजपत राय, बाल गंगाधर तिलक, बिपिन चंद्र पाल और अरबिंदो घोष उग्रवादियों के कुछ महत्वपूर्ण नेता थे।
- तिलक ने घोषणा की कि वह स्वशासन के अपने अधिकार के लिए लड़ेंगे।
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11. निम्नलिखित में से कौन-सा नेता कांग्रेस के गरम दल से संबंधित था?
(a) अरबिंद घोष
(b) दादाभाई नौरोजी
(c) जी.के. गोखले
(d) एस.एन. बनर्जी
[45th B.P.S.C. (Pre) 2001]
उत्तर- (a) अरबिंद घोष
- अरबिंदो घोष कांग्रेस पार्टी के बेहद सक्रिय सदस्य थे।
- वह इस समूह के चार प्रमुख नेताओं (लाल, बाल, पाल, घोष) में से एक थे।
- 1908 में, उन्हें ब्रिटिश पुलिस ने मदिकतल्ला गार्डन छापे में गिरफ्तार कर लिया और एक साल जेल की सजा सुनाई, लेकिन सबूतों के अभाव में रिहा कर दिया गया।
- अंततः, वह एक आध्यात्मिक नेता बन गए और क्रांतिकारी गतिविधियों से हटकर पांडिचेरी चले गए।
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12. निम्नलिखित में से कौन एक उग्रवादी था?
(a) फिरोजशाह मेहता
(b) गोपाल कृष्ण गोखले
(c) बिपिन चंद्र पाल
(d) उपर्युक्त में से कोई नहीं
[U.P. U.D.A./L.D.A. (Pre) 2013]
उत्तर-(c) बिपिन चंद्र पाल
- बिपिन चंद्र पाल गरम दल के चार स्तंभों (लाला लाजपत राय, बाल गंगाधर तिलक, बिपिन चंद्र पाल और अरबिंद घोष) में से एक थे।
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13. ‘शेर-ए-पंजाब’ के नाम से इनमें से कौन मशहूर थे?
(a) राजगुरु
(b) भगत सिंह
(c) लाला लाजपत राय
(d) उधम सिंह
[53rd to 55th B.P.S.C. (Pre) 2011]
उत्तर-(c) लाला लाजपत राय
- लाला लाजपत राय को “पंजाब के शेर” के रूप में जाना जाता था और वह भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के एक प्रमुख सदस्य थे।
- उन्हें लोकप्रिय रूप से “पंजाब केसरी” कहा जाता था। बाल गंगाधर तिलक और बिपिन चंद्र पाल के साथ, वह “लाल-बाल-पाल” समूह का हिस्सा थे।
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14. निम्न में से किस एक को लाला लाजपत राय ने अपना राजनीतिक गुरु माना था?
(a) गैरिबॉल्डी को
(b) विवेकानंद को
(c) दादाभाई नौरोजी को
(d) मैजिनी को
[U.P.R.O./A.R.O. (Mains) 2013]
उत्तर-(d) मैजिनी को
- लाला लाजपत राय इतालवी क्रांतिकारी माज़िनी से प्रेरित थे और उन्होंने उनकी जीवनी पढ़ी थी।
- वह मैज़िनी के काम से इतने प्रभावित हुए कि उन्होंने इसका उर्दू में अनुवाद किया, जिसका नाम था “द ड्यूटी ऑफ मैन”।
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15. उन्होंने मैजिनी, गैरिबॉल्डी, शिवाजी तथा श्रीकृष्ण की जीवनी लिखी; वे अमेरिका में कुछ समय के लिए रहे तथा वे केंद्रीय सभा के सदस्य भी निर्वाचित हुए। वे थे-
(a) अरविंद घोष
(b) बिपिन चंद्र पाल
(c) लाला लाजपत राय
(d) मोतीलाल नेहरू
[I.A.S. (Pre) 2018]
उत्तर- (c) लाला लाजपत राय
- ‘पंजाब केसरी’ के नाम से प्रसिद्ध भारतीय स्वतंत्रता सेनानी लाला लाजपत राय वर्ष 1907 में 6 माह के निर्वासन के दौरान कुछ समय के लिए अमेरिका में रहे और प्रथम विश्व युद्ध के दौरान वापस लौटे।
- राजनीतिज्ञ के साथ-साथ वह ओजस्वी लेखक भी थे।
- उन्होंने भगवान श्रीकृष्ण, शिवाजी, स्वामी दयानंद सरस्वती, मैजिनी और गैरिबॉल्डी की संक्षिप्त जीवनियां भी लिखीं।
- ‘अनहैप्पी इंडिया’ और ‘द स्टोरी ऑफ माई डिपोर्टेशन’ उनकी अन्य महत्वपूर्ण रचनाएं हैं।
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16. कांग्रेस सम्मेलनों को “शिक्षित भारतीयों का वार्षिक राष्ट्रीय मेला” किसने कहा था?
(a) लाला लाजपत राय
(b) बाल गंगाधर तिलक
(c) गोपाल कृष्ण गोखले
(d) बिपिनचंद्र पाल
[M.P.P.C.S. (Pre), 2021]
उत्तर- (a) लाला लाजपत राय
- कांग्रेस सम्मेलनों को ‘शिक्षित भारतीयों का वार्षिक राष्ट्रीय मेला’ लाला लाजपत राय ने कहा था।
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17. निम्न में कौन मध्यममार्गी नहीं था?
(a) गोपाल कृष्ण गोखले
(b) बाल गंगाधर तिलक
(c) ए.ओ. ह्यूम
(d) मदन मोहन मालवीय
[U.P. P.C.S (Pre) 1995]
उत्तर-(b) बाल गंगाधर तिलक
- लाल, बाल और पाल का नव-राष्ट्रवादी समूह कांग्रेस की पहली उदारवादी योजनाओं से निराश थे।
- बाल गंगाधर तिलक इस नये विश्वास के नेता थे और वे उदारवादी से अधिक उग्रवादी थे।
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18. निम्नलिखित नेताओं में से कौन एक ‘स्वदेशी’ के समर्थक थे?
(a) अरबिंद घोष
(b) फिरोजशाह मेहता
(c) दादाभाई नौरोजी
(d) सुभाष चंद्र बोस
[U.P. P.C.S. (Pre) 2009]
उत्तर- (a) अरबिंद घोष
- अरबिंदो घोष 1905 में स्वदेशी आंदोलन के नेता थे, जो बंगाल के विभाजन के जवाब में बनाया गया था।
- इस आंदोलन में अन्य प्रमुख हस्तियाँ पंजाब से लाला लाजपत राय, महाराष्ट्र से बाल गंगाधर तिलक और बंगाल से बिपिन चंद्र पाल थे।
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19. निम्नलिखित में से किसे “भारतीय अशांति के जनक” के रूप में जाना जाता है?
(a) ए.ओ. ह्यूम
(b) दादाभाई नौरोजी
(c) लोकमान्य तिलक
(d) महात्मा गांधी
[U.P. U.D.A./L.D.A. (Pre) 2001]
उत्तर-(c) लोकमान्य तिलक
- बाल गंगाधर तिलक दूसरों की मदद करने के लिए समर्पित थे और ब्रिटिश साम्राज्य के खिलाफ खड़े होने के लिए तैयार थे।
- उनके काम ने भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस को एक राजनीतिक ताकत बनने में मदद की जिसने ब्रिटिश नीतियों का समर्थन करने के बजाय उनका विरोध किया।
- वैलेंटाइन चिरोल ने तिलक को “भारतीय अशांति का जनक” कहा।
- तिलक चिरोल पर मुक़दमा चलाने के लिए इंग्लैंड गए, लेकिन वे मुक़दमा हार गए।
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20. बाल गंगाधर तिलक को किसने ‘अशांति का जनक’ कहा?
(a) लॉर्ड कर्जन
(b) विन्सेंट स्मिथ
(c) वैलेंटाइन शिरोल
(d) हेनरी काटन
[U.P. Lower Sub. (Pre) 2013]
उत्तर-(c) वैलेंटाइन शिरोल
- वैलेंटाइन चिरोल ने प्रसिद्ध रूप से तिलक को “भारतीय अशांति का जनक” करार दिया।
- तिलक ने चिरोल के खिलाफ कानूनी कार्रवाई करने के लिए इंग्लैंड की यात्रा की लेकिन असफल रहे।
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21. बी.जी. तिलक को सजा के पश्चात् निम्नलिखित में से किसने दया की वकालत की थी और कहा था- “संस्कृत के एक विद्वान के रूप में तिलक में मेरी दिलचस्पी है।”?
(a) रबींद्रनाथ टैगोर
(b) मैक्स मुलर
(c) बिपिन चंद्र पाल
(d) विलियम जोंस
[U.P.P.C.S. (Pre) 2014]
उत्तर-(b) मैक्स मुलर
- बाल गंगाधर तिलक “स्वदेशी” के विचार में दृढ़ विश्वास रखते थे और एक चरम समूह का हिस्सा थे जो ब्रिटिश शासन के खिलाफ था।
- उन्होंने दो समाचार पत्र शुरू किये, एक अंग्रेजी अखबार जिसका नाम ‘मराठा’ था और एक मराठी अखबार जिसका नाम ‘केसरी’ था।
- इन दोनों पत्रों में उग्र राष्ट्रवादी विचार व्यक्त किये गये, जिससे तिलक को कानूनी परेशानी का सामना करना पड़ा।
- प्रसिद्ध संस्कृत विद्वान मैक्स मुलर ने सरकार से तिलक के प्रति दया दिखाने को कहा क्योंकि वह उनमें रुचि रखते थे।
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22. बाल गंगाधर तिलक ‘लोकमान्य तिलक’ के नाम से जाना जाने लगे, जब-
(a) वे एक लोकप्रिय शिक्षक बने
(b) उन्होंने एक लोकप्रिय अखबार शुरू किया
(c) सरकार ने उन्हें रैंड मर्डर केस में अभियुक्त बनाया
(d) उन्होंने शिवाजी और गणपति उत्सव शुरू किया
(e) उपर्युक्त में से कोई नहीं/ उपर्युक्त में से एक से अधिक
[64th B.P.S.C. (Pre) 2018]
उत्तर-(e) उपर्युक्त में से कोई नहीं/ उपर्युक्त में से एक से अधिक
- ब्रिटिश सरकार ने सहायक कलेक्टर बाल गंगाधर तिलक पर रैंड की हत्या का आरोप लगाया।
- उन्हें दोषी पाया गया और 18 महीने की कड़ी जेल की सज़ा दी गई।
- उनकी रिहाई के बाद, उन्हें एक वीर व्यक्ति के रूप में देखा गया और उन्हें ‘लोकमान्य’ तिलक की उपाधि दी गई।
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23. 1908 में 6 वर्ष के कारावास की सजा स्वतंत्रता संग्राम के किस उग्रवादी नेता को दी गई थी?
(a) बिपिन चंद्र पाल
(b) बाल गंगाधर तिलक
(c) लाला लाजपत राय
(d) अरबिंद घोष
[Uttarakhand P.C.S. (Pre) 2010]
उत्तर-(b) बाल गंगाधर तिलक
- 1908 में बाल गंगाधर तिलक को अपने अखबार ‘द केसरी’ में देशद्रोही लेख लिखने के लिए छह साल की जेल की सजा दी गई थी।
- उन्हें लाला लाजपत राय और अन्य लोगों के साथ बर्मा के मांडले किले में भेज दिया गया।
- इस वाक्य के जवाब में बम्बई कपड़ा मिल के मजदूरों ने बम्बई में पहली राजनीतिक हड़ताल की।
- मांडले जेल में रहते हुए तिलक ने ‘गीता रहस्य’ पुस्तक लिखी।
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24. भारत के स्वतंत्रता आंदोलन के प्रारंभिक दौर में उग्रवादी विचारधारा को निम्नलिखित में से कौन-सा एक निरूपित करता है?
(a) आयातित वस्तुओं पर देशज वस्तुओं को प्रश्रय देकर देशज वस्तुओं के उत्पादन को बढ़ावा देना।
(b) सांविधानिक साधनों एवं याचिकाओं के स्थान पर आक्रामक साधनों से स्वशासन प्राप्त करना।
(c) देश को आवश्यकतानुसार राष्ट्रीय शिक्षा प्रदान करना।
(d) सैनिक विद्रोह द्वारा ब्रिटिश साम्राज्य के विरुद्ध बलात् राजपरिवर्तन संगठित करना।
[I.A.S. (Pre) 1998]
उत्तर-(b) सांविधानिक साधनों एवं याचिकाओं के स्थान पर आक्रामक साधनों से स्वशासन प्राप्त करना।
- नरमपंथी ब्रिटिश कानून के नियमों का उपयोग करना चाहते थे और उन्होंने बात करने के लिए प्रतिनिधियों को लंदन भेजा।
- चरमपंथी विदेशी नियंत्रण से आज़ादी चाहते थे और इसे हासिल करने के लिए उन्होंने आक्रामक विरोध प्रदर्शनों और आत्म-बलिदानों का इस्तेमाल किया।
- नरमपंथी औपनिवेशिक शासन के तहत स्वशासन चाहते थे, जबकि चरमपंथी पूर्ण स्वतंत्रता चाहते थे।
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25. भारतीय मुसलमान, सामान्य रूप से उग्रवादी आंदोलन की ओर आकर्षित नहीं हुए, इसका कारण था-
(a) उन पर सर सैयद अहमद खां का प्रभाव
(b) उग्रवादी नेताओं का मुस्लिम विरोधी दृष्टिकोण
(c) मुस्लिम आकांक्षाओं के प्रति उदासीनता का भाव
(d) उग्रवादियों की हिंदू अतीत का राग अलापने की नीति
[I.A.S. (Pre) 1998]
उत्तर- (d) उग्रवादियों की हिंदू अतीत का राग अलापने की नीति
- अधिकांश भारतीय मुसलमानों ने चरमपंथी आंदोलन का समर्थन नहीं किया क्योंकि इसका ध्यान हिंदू धर्म पर केंद्रित था।
- अरबिंदो घोष ने कहा कि स्वतंत्रता प्राप्त करना हर किसी के जीवन का लक्ष्य है और हिंदू धर्म इसे प्राप्त करने का एकमात्र तरीका है।
- उन्होंने यह भी कहा कि राष्ट्रीयता ईश्वर प्रदत्त धर्म है।
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26. कथन (A): बाल गंगाधर तिलक सांप्रदायिकतावादी थे।
कारण (R): उन्होंने धर्म का राजनैतिक अस्त्र के रूप में प्रयोग किया।
नीचे दिए गए कूट का प्रयोग कर अपना उत्तर चुनिए-
(a) (A) और (R) दोनों सही हैं, तथा (R), (A) का सही स्पष्टीकरण है।
(b) (A) तथा (R) दोनों सही हैं, परंतु (R), (A) का सही स्पष्टीकरण नहीं है।
(c) (A) सही है, परंतु (R) गलत है।
(d) (A) गलत है, परंतु (R) सही है।
[U.P. P.C.S (Pre) 2001]
उत्तर- (d) (A) गलत है, परंतु (R) सही है।
- बाल गंगाधर तिलक एक बहुत ही देशभक्त भारतीय थे जिन्होंने सभी भारतीयों के लिए ‘स्वराज’ (स्वतंत्रता) की मांग की।
- उनके विचारों ने गांधी जी के कार्यों को प्रेरित किया।
- उन्होंने राष्ट्रीय गौरव को प्रोत्साहित करने के लिए महाराष्ट्र में दो उत्सव ‘गणपति पर्व’ और ‘शिवाजी महोत्सव’ शुरू किये।
- उन्होंने धर्म को एक राजनीतिक उपकरण के रूप में इस्तेमाल किया, लेकिन यह किसी भी प्रकार के धार्मिक पूर्वाग्रह के लिए नहीं था।
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27. महाराष्ट्र में गणपति पर्व का श्रीगणेश किया था-
(a) बी.जी. तिलक ने
(b) एम.जी. रानाडे ने
(c) बिपिन चंद्र पाल ने
(d) अरबिंद घोष ने
[U.P. P.C.S. (Pre) 1996]
[U.P. P.C.S. (Pre) 2005]
उत्तर- (a) बी.जी. तिलक ने
- बी.जी. तिलक राष्ट्रीय गौरव को प्रोत्साहित करने के लिए महाराष्ट्र में दो उत्सव ‘गणपति पर्व’ और ‘शिवाजी महोत्सव’ शुरू किये।
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28. महात्मा गांधी के साथ निम्न मुसलमानों में से किसने बाल गंगाधर तिलक की अर्थी उठाई थी?
(a) शौकत अली
(b) मोहम्मद अली
(c) मौलाना ए.के. आज़ाद
(d) एम.ए. अंसारी
[U.P.P.C.S. (Pre) 2014]
उत्तर- (a) शौकत अली
- 1 अगस्त, 1920 को बाल गंगाधर तिलक के निधन के बाद शौकत अली, डॉ. सैफुद्दीन किचालू और महात्मा गांधी ने उनके शरीर को उठाया और मौलाना हसरत मोहानी ने बाद में श्रद्धांजलि दी।
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