औद्योगिक क्रांति : उपनिवेशवाद नीति

प्रश्न: औद्योगिक क्रांति के अतिरिक्त, अन्य कारक भी थे जिन्होंने 19वीं शताब्दी में उपनिवेशों के लिए होने वाली प्रतिस्पर्धा में योगदान दिया। चर्चा कीजिए।

दृष्टिकोण

  • उपनिवेशवाद की संक्षिप्त व्याख्या कीजिए।
  • चर्चा कीजिए कि किस प्रकार 19वीं शताब्दी में औद्योगिक क्रांति ने उपनिवेशवाद को बढ़ावा दिया।
  • 19वीं शताब्दी में उपनिवेशों के लिए होने वाली प्रतिस्पर्धा में योगदान देने वाले अन्य कारकों की चर्चा कीजिए।

उत्तर

उपनिवेशवाद शोषण पर आधारित था जिसमें प्रभुत्वशाली देश द्वारा अपने आर्थिक और राजनीतिक हितों की पूर्ति हेतु अन्य देशों को अपने अधीन कर लिया जाता था। 19वीं शताब्दी के दौरान उपनिवेशवाद ने नाटकीय रूप से विश्व को परिवर्तित किया।

  • औद्योगिक क्रांति और पूंजीवाद द्वारा सृजित मांगों ने एक आक्रामक उपनिवेशवाद नीति का मार्ग प्रशस्त किया जो आर्थिक आवश्यकताओं से प्रेरित था। कारखानों द्वारा उत्पादित वस्तुओं के क्रय करने हेतु नए बाजारों, अधिशेष पूंजी के निवेश के लिए गंतव्य स्थान और कच्चे माल (भारत और मिस्र से कपास) के आपूर्तिकर्ताओं के रूप में उपनिवेशों की आवश्यकता थी।
  • औद्योगिक क्रांति के अतिरिक्त, 19वीं शताब्दी में उपनिवेशों की प्रतिस्पर्धा में योगदान देने वाले अन्य कारक निम्नलिखित थे:
  •  सैन्य और राजनीतिक कारण: यूरोपीय राष्ट्रों ने अनुभव किया कि उपनिवेश सैन्य शक्ति और राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए महत्वपूर्ण थे। उदाहरण के लिए, कोयले और अन्य प्रकार की आपूर्ति को सुनिश्चित करने हेतु विश्व भर में द्वीपों अथवा बंदरगाहों को सैन्य अड्डों के रूप में प्रयोग करने हेतु उनका अधिग्रहण किया गया था।
  • परिवहन और संचार में सुधार: उदाहरण के लिए, वाष्प-शक्ति चालित जहाजों, रेलमार्गों, जलमार्गों आदि ने एक देश से दूसरे देश में कच्चे माल और तैयार माल की आवाजाही को सुगम बनाया।
  • चरम अथवा उग्र राष्ट्रवाद की भावना: उपनिवेशों का अधिग्रहण राष्ट्र की प्रतिष्ठा और शक्ति का प्रतीक बन गया था।
  •  मानवीय और धार्मिक लक्ष्य: ईसाई मिशनरियों और अन्वेषकों को ‘गोरे लोगों का बोझ’ के सिद्धांत (white man’s burden theory) में विश्वास करने हेतु निर्देशित किया गया था और कहा गया कि उनका उद्देश्य विश्व के असभ्य लोगों को सभ्य बनाना है।
  • सामाजिक डार्विनवाद: इसने यह प्रस्तावित करके औपनिवेशिक विस्तार को बढ़ावा दिया कि कुछ लोग दूसरों की तुलना में अधिक उपयुक्त (उन्नत) थे और इसलिए मानव जाति को बेहतर बनाने हेतु “हीन (inferior)” लोगों को जीतना उनके लिए स्वाभाविक ही था।
  • उच्च तकनीक और बेहतर चिकित्सा ज्ञान: इसने उपनिवेशवाद को बढ़ावा देने में सहायता प्रदान की। उदाहरणार्थ क्विनिन ने यूरोपीय लोगों को उष्णकटिबंधीय रोगों से बचने में सक्षम बनाया, रैपिड-फायर मशीन गन ने उन्हें एक सैन्य लाभ प्रदान किया इत्यादि।
  • इसके अतिरिक्त, एशिया और अफ्रीका की राजनीतिक, सैन्य, आर्थिक और सामाजिक संरचना में निहित कमजोरियों ने भी उनकी औपनिवेशिक विजय को सक्षम बनाया।

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